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चावल निर्यातकों को मिली राहत!
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चावल निर्यातकों को मिली राहत!
👉इस साल कई राज्यों में देर से मानसून का आगम हुआ था. साथ ही कई राज्यों में औसत से कम बारिश के कारण धान की रोपाई भी कम हुई थी. ऐसे में सरकार ने 8 सितंबर को टूटे हुए चावल के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था. 👉केंद्र सरकार ने सफेद और ब्राउन चावल के निर्यात को लेकर बड़ा फैसला लिया है. सरकार ने कहा है कि वह 9 सितंबर से पहले जारी किए गए ऋण पत्रों द्वारा समर्थित सफेद और भूरे चावल के कार्गो को विदेशों में भेजने की अनुमति देगा. वहीं, सरकार के इस फैसले से निर्यातकों को फौरी तौर पर राहत मिली है. दरअसल, सरकार ने 8 सितंबर को टूटे हुए चावल के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था. साथ ही विभिन्न ग्रेड के निर्यात पर 20% शुल्क लगाया गया था, ताकि इससे घरेलू आपूर्ति को बढ़ावा और खुदरा दाम को नियंत्रित किया जा सके. 👉दरअसल, इस साल कई राज्यों में देर से मानसून का आगम हुआ था. साथ ही कई राज्यों में औसत से कम बारिश के कारण धान की रोपाई भी कम हुई थी. ऐसे में सरकार ने 8 सितंबर को टूटे हुए चावल के निर्यात पर प्रतिबंध लगा दिया था. खास बात यह है कि सरकार के इस कदम से बंदरगाहों पर लगभग 10 लाख टन चावल फंस गया या जो सरकार की घोषणा से पहले विदेश जाने वाला था. 👉नेपाल को 600,000 टन चावल निर्यात करने की अनुमति देगी:- राइस एक्सपोर्टर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष बीवी कृष्ण राव ने कहा कि यह एक बड़ी राहत है, जिसकी मांग हम पिछले कुछ हफ्तों से कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि बीते 9 सितंबर से भारतीय सफेद चावल के निर्यात मूल्य में 12% की वृद्धि हुई है. वहीं, सरकार ने सोमवार देर रात जारी अपने नोटिस में यह भी कहा कि वह नेपाल को 600,000 टन बिना पिसाई चावल निर्यात करने की अनुमति देगी, जो परंपरागत रूप से अपनी खाद्यान्न आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए भारत पर निर्भर है. भारत में वैश्विक चावल शिपमेंट का 40% से अधिक हिस्सा है. भारत का चावल में थाईलैंड, वियतनाम, पाकिस्तान और म्यांमार के साथ प्रतिस्पर्धा रहता है. वहीं, नई दिल्ली ने पिछले महीने 397,267 टन टूटे चावल के निर्यात की अनुमति दी थी. 👉ब्रोकन राइस की हिस्सेदारी 22.78 प्रतिशत है बता दें कि भारत से निर्यात होने वाले साबूत चावल में टूकड़े का एक बड़ा हिस्सा शामिल है. 2022 में कुल 93.53 लाख मीट्रिक टन चावल निर्यात हुआ है, जिसमें टूकड़े चावल की हिस्सेदारी 21.31 लाख मीट्रिक टन है. इस अनुसार भारत से कुल चावल निर्यात में ब्रोकन राइस की हिस्सेदारी 22.78 प्रतिशत है. 👉स्त्रोत:-Agrostar किसान भाइयों ये जानकारी आपको कैसी लगी? हमें कमेंट करके ज़रूर बताएं और लाइक एवं शेयर करें धन्यवाद!
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