सलाहकार लेखएग्रोस्टार एग्रोनोमी सेंटर ऑफ़ एक्सीलेंस
बाजरा की फसल में एकीकृत कीट प्रबंधन!
खेतों से फसल अवशेषों का हटाना तथा मेढ़ों को साफ रखना।_x000D_
गहरी जुताई करके उसमें मौजूदा कीड़ों तथा बिमारियों की विभिन्न अवस्थओं तथा खरपतवारों को नष्ट करना।_x000D_
खाद तथा अन्य तत्वों की मात्रा निर्धारिण के लिए मिट्टी परिक्षण करवाना।_x000D_
साफ, उपयुक्त एवं प्रतिरोधी किस्मों का चयन करना तथा बोने से पहले बीज उपचार करना।_x000D_
उचित बीज दर एवं पौध अन्तरण।_x000D_
पौधारोपण से पहले पौधें की जड़ो को जैविक फफूंदी नाशक ट्राइकोडर्मा बिरडी से उपचारित करें।_x000D_
फसल बीजने और काटने का समय इस तरह सुनिशिचित करना ताकि फसल कीड़ो तथा बीमारियों के प्रमुख प्रकोप से बचे सके।_x000D_
पौधें की सही सघनता रखे ताकि पौधे स्वस्थ रहे।_x000D_
समुचित जल प्रबन्धन_x000D_
उर्वरक प्रबन्धन अर्थात उर्वरक की सही मा़त्रा उचित समय पर देना। फसल की समय से उचित नमी में सन्तुलित खाद व बीज की मात्रा डाले ताकि पौधे प्रारम्भिक अवस्था में स्वस्थ रह कर खरपतवारों से आगे निकल सके।_x000D_
फसल चक्र अपनाना अर्थात एक ही फसल को उसी खेत में बार बार न बीजना। इससे कई कीड़ो तथा बीमारियों का प्रकोप कम हो जाता है।_x000D_
खरपतपार का समुचित प्रबन्ध करना। यह पाया गया है कि बहुत से खरपतवार कई तरह की बीमारियों तथा कीटों को संरक्षण देते हैं।_x000D_
बीजाई के 45 दिनों तक खेतों से खरपतवारों को फूल आने की अवस्था से पहले ही निकाल दें।_x000D_
कीड़ों के अण्ड समूहों, सूडियों, प्यूपों तथा वयस्कों को इकट्ठा करके नष्ट करना। _x000D_
रोगग्रस्त पौधों या उनके भागों को नष्ट करना।_x000D_
कीड़ो की निगरानी व उनको आकर्षित करने के लिए फिरामोन ट्रेप का प्रयोग करना तथा आकर्षित कीड़ो को नष्ट करना।_x000D_
हानिकारक कीट सफेद मक्खी व तेला के नियन्त्रण के लिए यलो स्टिकी ट्रेप का प्रयोग करें।
स्रोत:- एग्रोस्टार एग्रोनोमी सेंटर ऑफ एक्सीलेंस
यदि आपको दी गई जानकारी उपयोगी लगे, तो लाइक करें और अपने अन्य किसान मित्रों के साथ शेयर करें।