गुरु ज्ञानAgrostar
प्याज में रस चूसक कीट का होगा अंत!
👉देश के लगभग सभी क्षेत्रों में प्याज एवं लहसुन की फसल में थ्रिप्स, महुवा और हरा तेला का प्रकोप होता है। इस कीट के कारण फसल को भारी क्षति पहुंचती है। समूह में रहने वाले यह कीट पत्तियों के अंदर छिपे रहते हैं और पत्तियों का रस चूस कर पौधों को कमजोर बना देते हैं।
नुकसान :-
◉ पौधों के कोमल भाग को खुरच कर उनमे से रस चूस लेते है।
◉ इस कीट से प्रभावित पत्तियों में जगह पर सफेद रंग के धब्बे दिखाई देते है ।
◉ ज्यादा प्रकोप होने पर पत्तिया सिकुड़ जाती है और पौधों की बढ़वार रुक जाती है।
◉ इसके द्वारा पौधों में फफूंद एवं जीवाणु के रोग का प्रभाव दिखाई देता है।
◉ जो भी प्रकोपित पौधे होते है उनके कंद छोटे रह जाते है।
नियंत्रण :-
◉ इसके नियंत्रण हेतु आप डायमेथोएट @ 1 मिली, थायमेथोक्झाम + लैम्बडासीहैलोथ्रिन @ ०.८ मिली, फिप्रोनिल @ 1.5 मिली, इमिडाक्लोप्रिड @ ०.५ ग्राम प्रति लीटर के हिसाब से छिड़काव करे।
◉ खेत में 6 से 7 ट्रैप प्रति एकड़ के हिसाब से लगाए।
👉स्त्रोत:-Agrostar,
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