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धान में यांत्रिकी विधि से खरपतवार नियंत्रण!
निवारक विधि:-
👉इस विधि में वे क्रियाएं शामिल हैं जिनके द्वारा धान के खेत में खरपतवारों के प्रवेश को रोका जा सकता है। जैसे प्रमाणित बीजों का प्रयोग, अच्छी सड़ी गोबर एवं कम्पोस्ट की खाद का प्रयोग, सिंचाई की नालियों की सफाई, खेत की तैयारी एवं बुवाई में प्रयोग किये जाने वाले यंत्रों के प्रयोग से पूर्व सफाई एवं अच्छी तरह से तैयार की गई नर्सरी से पौध को रोपाई के लिए लगाना आदि।
यांत्रिक विधि:-
👉खरपतवारों पर काबू पाने की यह एक सरल एवं प्रभावी विधि है। किसान धान के खेतों से खरपतवारों को हाथ से या खुरपी की सहायता से निकालते हैं। लाइनों में सीधी बुवाई की गई फसल में हों चलाकर भी खरपतवारों को नियंत्रित किया जा सकता है। इसके अतिरिक्त लाइनों में बोई गई फसल में पैडीवीडर चलाकर भी खरपतवारों की रोकथाम की जा सकती है। सामान्यत: धान की फसल में दो निराई-गुड़ाई, पहली बुवाई/रोपाई के 20-25 दिन बाद एवं दूसरी 40-45 दिन बाद करने से खरपतवारों का प्रभावी नियंत्रण किया जा सकता है तथा फसल की पैदावार में काफी वृद्धि की जा सकती है।
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स्रोत:- Vikaspedia,
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