समाचारAgroStar
खेत में खाद बनाने का जबरदस्त तरीका!
🌱अभी देश में रबी फसलों की कटाई का काम जोरों से चल रहा है। ऐसे में किसान कुछ तकनीक अपनाकर मिट्टी की उर्वरक क्षमता को बढ़ा सकते हैं। इसके लिए कृषि विभाग के अधिकारियों के द्वारा किसानों को सलाह दी जा रही है। किसान रबी फसलों की कटाई के बाद शेष बचे अवशेषों को मिट्टी में दवा कर उसकी खाद बना सकते हैं।
🌱इसके अलावा किसान हरी खाद के लिए ढैंचा जैसी फसलों की खेती भी कर सकते हैं। इस क्रम में कृषि विभाग ने किसानों से गेहूं की पराली को खेतों में नहीं जलाने का आग्रह किया है। इसके लिए प्रशासन द्वारा पहले से ही गेहूं की नरवाई जलाने पर प्रतिबंध लगाया गया है। कृषि वैज्ञानिकों की मानें तो गेंहू फसल के ठूठ नरवाई को जलाने से खेत की उर्वरक क्षमता में कमी आती है। वहीं गेहूं की पराली को रोटावेटर की सहायता से खेत की मिट्टी में मिलाने से देशी खाद बनती है जिससे फसलों के उत्पादन में वृद्धि के साथ ही लागत में भी कमी आती है।
🌱कृषि विभाग द्वारा दी जा रही है सलाह किसानों को खेत में पाराली जलाने से रोकने के लिए कृषि विभाग के अधिकारियों एवं कृषि वैज्ञानिकों द्वारा अपने-अपने क्षेत्रों में भ्रमण कर किसान भाई को पाराली न जलाने की सलाह एवं समझाइश निरंतर दी जा रही है। मध्यप्रदेश के सीहोर उप संचालक कृषि ने बताया कि विभाग के अधिकारी अपने निरन्तर भ्रमण के दौरान किसानों को समझाइश दे रहे हैं कि किसान अपने खेत की पाराली नहीं जलाये और पाराली नहीं जलाने के फायदे बता रहे है। किसान अपने खेत की पाराली जलाने के स्थान पर रोटावेटर चलाकर पाराली खेत की मिट्टी में मिलाये। और इससे अगली फसल की पैदावार भी अच्छी होगी।
🌱स्रोत:- AgroStar
किसान भाइयों ये जानकारी आपको कैसी लगी? हमें कमेंट 💬करके ज़रूर बताएं और लाइक 👍एवं शेयर करें धन्यवाद!