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किसानों की आमदनी डबल करने के लिए केंद्र सरकार ने शुरू की नई स्कीम!
कृषि वार्ताTV 9 Hindi
किसानों की आमदनी डबल करने के लिए केंद्र सरकार ने शुरू की नई स्कीम!
👉🏻 डिजिटल एग्रीकल्चर की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कल्पना अब मूर्तरूप ले रही है. वर्ष 2014 में प्रधानमंत्री पद का कार्यभार संभालने के बाद से मोदी ने खेती-किसानी में आधुनिक तकनीक के उपयोग पर बहुत बल दिया है, ताकि इसके माध्यम से किसानों को सुविधा हो और उनकी आमदनी बढ़ सकें. टेक्नालाजी के उपयोग से किसानों के लिए खेती मुनाफे का सौदा बनेगी, साथ ही नई पीढ़ी भी कृषि की ओर आकर्षित होगी. यह बात केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण, ग्रामीण विकास, पंचायती राज तथा खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कृषि मंत्रालय व माइक्रोसॉफ्ट इंडिया के बीच एमओयू साइन होने के कार्यक्रम में कही. 6 गांवों में शुरू हुआ पायलट प्रोजेक्ट 👉🏻 फसलोपरांत प्रबंधन एवं वितरण सहित स्‍मार्ट एवं सुव्‍यवस्‍थित कृषि के लिए किसान इंटरफेस विकसित करने हेतु 6 राज्‍यों (उत्तरप्रदेश, मध्यप्रदेश, गुजरात, हरियाणा, राजस्थान व आंध्रप्रदेश) के 10 जिलों में चयनित 100 गांवों में पायलेट प्रोजेक्ट शुरू करने के लिए माइक्रोसाफ्ट आगे आया है. 👉🏻 इस प्रोजेक्ट के लिए माइक्रोसॉफ्ट अपने स्थानीय भागीदार, क्रॉपडेटा के साथ शामिल हुआ है. इस संबंध में कैबिनेट मंत्री तोमर व दोनों राज्य मंत्रियों की मौजूदगी में एमओयू व त्रिपक्षीय विलेख का आदान-प्रदान किया गया. 👉🏻 प्रोजेक्ट एक वर्ष के लिए है व एमओयू करने वाले दोनों पक्षकार अपनी स्‍वयं की लागत से इसका वहन करेंगे. इस प्रोजेक्ट से चयनित 100 गांवों में किसानों की बेहतरी के लिए विविध कार्य होंगे, जो उनकी आय बढ़ाएंगे. 👉🏻 ये प्रोजेक्ट किसानों की आदान लागत को कम करेगा व खेती में आसानी सुनिश्चित करेगा. देश में वाइब्रेंट डिजिटल कृषि पारिस्‍थितिक प्रणाली बनाने के लिए अन्‍य सार्वजनिक व निजी क्षेत्र के प्‍लेयरों के साथ इसी प्रकार के पायलेट प्रोजेक्ट शुरू करने का प्रस्‍ताव है. 👉🏻 सरकार का उद्देश्‍य असंगत सूचना की समस्‍या दूर करके किसानों की आय में वृद्धि करना है. इस लक्ष्‍य को प्राप्‍त करने के उद्देश्‍य से कई नई पहल शुरू की गई हैं. इस संबंध में एक प्रमुख पहल राष्‍ट्रीय कृषक डेटाबेस पर आधारित कृषि-फंड बनाना है. 👉🏻 सरकार देशभर से किसानों के भू-रिकार्डों को जोड़कर किसान डेटाबेस तैयार कर रही है. पीएम किसान, मृदा स्वास्थ्य कार्ड और प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना से संबंधित सरकार के पास उपलब्ध आंकड़े समेकित कर लिए गए हैं. 👉🏻 अन्य आंकड़ों को जोड़ने की प्रक्रिया जारी है. कृषि मंत्रालय की सभी योजनाओं में जो भी परिसंपत्तियां निर्मित होगी, उसके जियो टैगिंग के लिए भी कृषि मंत्री तोमर ने निर्देश जारी किए हैं. सीधे किसानों के खातों में पहुंचती है रकम 👉🏻 केंद्रीय मंत्री तोमर ने कहा कि सरकार की पारदर्शिता की सोच के अनुरूप प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (पीएम किसान) सहित अन्य योजनाओं की राशि सीधे हितग्राहियों के बैंक खातों में जमा कराई जा रही है. 👉🏻 इसी तरह, मनरेगा भी प्रधानमंत्री जी की प्राथमिकता में है. पहले मनरेगा में प्रोग्रेस होती भी थी तो पूछे जाने पर ठीक प्रकार से परिदृष्य को बताना संभव नहीं हो पाता था. 👉🏻 पहले इस स्कीम में अनेक प्रकार की शिकायतें भी आती थी, लेकिन अब प्रसन्नता की बात है कि पीएम की रूचि के कारण टेक्नालाजी का उपयोग किए जाने से मनरेगा का सारा डेटा सरकार के पास उपलब्ध है. 👉🏻 जिससे आज मजदूरी की राशि सीधे मजदूरों के बैंक खातों में जाती है. आज मनरेगा में लगभग 12 करोड़ लोग जाब कार्डधारी है, जिनमें से लगभग 7 करोड़ लोग काम प्राप्त करने के लिए आते रहते हैं. 👉🏻 उन्होंने कहा कि कृषि अर्थव्यवस्था हमारे देश की रीढ़ की तरह है. कृषि क्षेत्र ने कोरोना महामारी जैसी प्रतिकूल परिस्थितियों में भी देश की अर्थव्यवस्था में सकारात्मक योगदान दिया है. 👉🏻 कृषि का कोई भी नुकसान देश का ही नुकसान होता है, इसलिए प्रधानमंत्री ने अनेक कार्य हाथ में लिए हैं. एक के बाद एक योजनाओं का सृजन व क्रियान्वयन हो रहा है, ताकि छोटे किसानों के लिए खेती लाभप्रद बनें. 👉🏻 खेती तथा खेती सम्बंधित अन्य महत्वपूर्ण जानकारियों के लिए कृषि ज्ञान को फॉलो करें। फॉलो करने के लिए अभी ulink://android.agrostar.in/publicProfile?userId=558020 क्लिक करें। स्रोत:-TV 9 Hindi, 👉🏻 प्रिय किसान भाइयों अपनाएं एग्रोस्टार का बेहतर कृषि ज्ञान और बने एक सफल किसान। यदि दी गई जानकारी आपको उपयोगी लगी, तो इसे लाइक 👍 करें एवं अपने अन्य किसान मित्रों के साथ शेयर करें धन्यवाद!
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